पितरों के लिए मोक्ष की मंगल कामना और उनकी आत्मा की शांति की प्रार्थना करने का पखवाड़ा है श्राद्ध पक्ष श्रद्धा सुमन सेवा समिति द्वारा अनेक संतों के सानिध्य में हंसदास मठ पर निःशुल्क तर्पण अनुष्ठान का हुआ शुभारंभ
इंदौर। श्राद्ध पक्ष अपने पितरों के लिए मोक्ष की मंगल कामना और उनकी आत्मा की शांति के लिए प्रार्थना करने का शास्त्रोक्त पखवाड़ा है। हमारी संस्कृति में सात जन्मों तक रिश्ते माने गए हैं। इस दौरान पितरों के आशीर्वाद और उनकी सदभावनाएं हमें तो मिलती ही हैं, आने वाली पीढियों को भी संस्कारों से समृद्ध बनाती हैं। अपने दिवंगत पूर्वजों एवं पितरों के प्रति श्रद्धा का नाम ही श्राद्ध है।
एयरपोर्ट रोड, पीलियाखाल स्थित हंसदास मठ के महामंडलेश्वर श्रीमहंत रामचरणदास महाराज के सानिध्य एवं महामंडलेश्वर पं. पवनदास महाराज के मार्गदर्शन तथा तिरुपति बालाजी से आए भागवताचार्य लालाजी महाराज, पं. द्वारकाधीश महाराज के विशेष आतिथ्य में श्रद्धा सुमन सेवा समिति द्वारा आयोजित निःशुल्क तर्पण अनुष्ठान के शुभारंभ प्रसंग पर पं. पुष्पानंदन पवन तिवारी के सुशिष्य पं. प्रताप शास्त्री ने उक्त प्रेरक बातें कहीं। भगवान हरि विष्णु के पूजन के साथ तर्पण अनुष्ठान का शुभारंभ हुआ। प्रारंभ में संस्था के अध्यक्ष हरि अग्रवाल, उपाध्यक्ष राजेन्द्र सोनी, महामंत्री डॉ. चेतन सेठिया, कोषाध्यक्ष राजेन्द्र गर्ग, चंद्रप्रकाश गुप्ता, विनय जैन, मुरलीधर धामानी, शंकरलाल वर्मा, डॉ. हरिनारायण विजयवर्गीय, जगमोहन वर्मा, आशीष जैन आदि ने हंसदास संस्कृत विद्यापीठ के वेदपाठी बटुकों द्वारा वैदिक मंगलाचरण के बीच अतिथियों का स्वागत किया। समिति के संस्थापक अध्यक्ष ब्रह्मलीन मोहनलाल सोनी के चित्र पर माल्यार्पण कर पुष्पांजलि समर्पित करने के बाद तर्पण अनुष्ठान का शुभारंभ हुआ। आज पहले ही दिन श्राद्ध पक्ष की एकम तिथि पर करीब 500 साधकों ने विधि-विधानपूर्वक अपने-अपने पितरों के प्रति तर्पण क्रिया संपन्न की। तर्पण के बाद निर्धनों, पशु-पक्षियों के लिए खीर प्रसाद की व्यवस्था भी यहां प्रतिदिन रखी गई है।
हंसदास मठ पर सभी साधकों के लिए तर्पण सामग्री थाली, कलश, दूध, दुर्वा, काले तिल, जौ, पुष्प एवं जनेऊ सहित सभी सामग्री समिति की ओर से निःशुल्क उपलब्ध कराई जा रही है। संचालन हरि अग्रवाल एवं राजेन्द्र सोनी ने किया और आभार माना राजेंद्र गर्ग ने। तर्पण के दौरान दिवंगत पूर्वजों, स्वतंत्रता सेनानियों, देश के लिए शहीद हुए जवानों, इंदौर रियासत के पूर्व होल्कर शासकों तथा गौमाता के लिए भी मोक्ष की कामना के साथ विश्वशांति एवं जन मंगल के अनुष्ठान हुए। आरती में जवाहरलाल शर्मा, हरीश नागोरी, पुरुषोत्तम मेढ़तवाल, अशोक बंग, राकेश चौहान, अरविंद बगथरिया, हनुमानप्रसाद सारड़ीवाल, राजेश कायथा, अशोक नामदेव, राजकुमारी मिश्रा, मंजू सोनी, गीता विजयवर्गीय, छाया वर्मा सहित सभी साधकों ने भाग लिया।
सुबह 8 बजे तक पहुंचे- समिति के अध्यक्ष हरि अग्रवाल एवं उपाध्यक्ष राजेंद्र सोनी ने बताया कि श्राद्ध पक्ष में रविवार से 21 सितम्बर तक प्रतिदिन सुबह 8 से 10 बजे तक तर्पण अनुष्ठान होगा। आम श्रद्धालु यहां आकर निःशुल्क तर्पण कर सकेंगे। तर्पण मे प्रयुक्त सभी सामग्री की व्यवस्था समिति द्वारा की रही है। इस दौरान 14 सितम्बर से 20 सितम्बर तक पितृ मोक्षदायी भागवत कथा भी आचार्य पं. पं. पुष्पानंदन पवन तिवारी के श्रीमुख से प्रतिदिन दोपहर 2 से 5 बजे तक होगी। जिन परिजनों को अपने पितरों के निधन की तिथि ज्ञात है, वे उस तिथि के दिन प्रातः 7.30 बजे तक घर से स्नान कर स्वच्छ श्वेत कुर्ता-पायजामा या धोती-कुर्ता पहनकर हंसदास मठ पहुंच जाएं जहां समिति की ओर से सभी व्यवस्थाएं निशुल्क रखी गई हैं, जिन्हें अपने पितरों की मृत्यु की तिथि ज्ञात नहीं है, वे सर्वपितृ अमावस्या पर शामिल हो सकते हैं।