कॉलेजों को उच्च शिक्षा सर्वेक्षण के लिए 15 तक जमा करना होगा डेटा

भोपाल। उच्च शिक्षा विभाग ने मध्य प्रदेश के सभी कॉलेजों को शैक्षणिक सत्र 2024-25 के लिए अखिल भारतीय उच्च शिक्षा सर्वेक्षण (AISHE) के लिए 15 सितंबर तक विस्तृत डेटा अपलोड करने का निर्देश दिया है। 2010-11 से प्रतिवर्ष आयोजित किया जाने वाला यह सर्वेक्षण सरकार को देश में उच्च शिक्षा की वर्तमान स्थिति और गुणवत्ता का आकलन करने में मदद करता है।
निर्देशों के अनुसार, संस्थानों को लगभग 80 मानदंडों पर जानकारी प्रदान करनी होगी, जिनमें छात्र नामांकन, शिक्षक उपलब्धता, शिक्षक-छात्र अनुपात, प्रस्तावित पाठ्यक्रम, सीटें, प्रयोगशालाएँ, कंप्यूटर सुविधाएं, खेल के मैदान, बुनियादी ढांचा, वित्तीय संसाधन, छात्रवृत्तियाँ, सकल नामांकन अनुपात और लैंगिक समानता सूचकांक शामिल हैं।
इस वर्ष इंदौर, धार, अलीराजपुर और झाबुआ जैसे नव स्थापित महाविद्यालयों को केवल पोर्टल पर पंजीकरण कराना होगा, क्योंकि वहां पहली बार प्रवेश हुए हैं। उन्हें अगले शैक्षणिक सत्र से पूरा डेटा जमा करना होगा।
डीएवीवी ने 190 महाविद्यालयों को निर्देश जारी किए
देवी अहिल्या विश्वविद्यालय (डीएवीवी), जो अपने संबद्ध संस्थानों के लिए नोडल एजेंसी के रूप में कार्य कर रहा है, ने अपने अधिकार क्षेत्र के अंतर्गत आने वाले 190 महाविद्यालयों को पत्र लिखकर आवश्यक जानकारी समय पर अपलोड करने का निर्देश दिया है।
कॉलेज विकास परिषद (डीसीडीसी) के निदेशक डॉ. राजीव दीक्षित ने पुष्टि की कि राज्य भर में लगभग 1,360 सरकारी और निजी महाविद्यालयों को कवर करते हुए इसी तरह के निर्देश जारी किए गए हैं।
एआईएसएचई सर्वेक्षण का उद्देश्य भारत में उच्च शिक्षा की एक व्यापक तस्वीर प्रस्तुत करना है, जिससे सरकार बुनियादी ढाँचे, संकाय संख्या और संसाधनों में कमियों की पहचान कर सके, साथ ही नामांकन और समावेशिता पर भी नज़र रख सके। एकत्रित डेटा उच्च शिक्षा प्रणाली में नीतिगत निर्णयों और सुधारों का आधार बनता है।