उत्तराखंड: वोकल फॉर लोकल, चिकन मटन की आपूर्ति से किसान बन रहे मालामाल

चम्पावत:उत्तराखंड सरकार ने अक्टूबर 2024 में आईटीबीपी के साथ एक समझौता ज्ञापन में हस्ताक्षर किए थे, जिसमें जवानों को दिए जाने वाले मांस मुर्गा, मछली व दूध स्थानीय काश्तकारों के माध्यम से पशुपालन विभाग उपलब्ध कराएगा। जिसके बाद सीमांत जिलों के स्थानीय काश्तकारों को लाभ मिलना शुरू हो गया है। यह समझौता किसानों के लिए गेम चेंजर तो है ही साथ ही जवानों को भी पहाड़ की शुद्द व ताज़ा खाद्य सामग्री मिल रही है और प्रधानमंत्री के वोकल फॉर लोकल को भी गति मिल रही है। आईटीबीपी को नॉनवेज सप्लाई से पिछले एक वर्ष में राज्य के पर्वतीय जिलों के किसानों ने करोड़ो रूपये का कारोबार किया है। चम्पावत जिले के 200 से अधिक किसानों को इसका सीधा फायदा मिला। जिले में पशु पालन विभाग द्वारा आईटीबीपी 36 वीं वाहनी लोहाघाट को माह में दो बार चिकन व मटन की आपूर्ति करनी पड़ रही है ।
पशुपालन विभाग के सप्लाई इंचार्ज डॉ. दीपक ने बताया कि इसका उद्देश्य जिले के सभी वाइब्रेंट विलेज में अधिक से अधिक बकरी व मुर्गी पालन कराकर किसानों की आय बढ़ाना है। इस कार्यक्रम के तहत बीते एक वर्ष में 30 टन जिंदा बकरी व 40 टन जिंदा मुर्गी इन उत्पादको से आईटीबीपी को उपलब्ध कराई गई है। जिससे किसानों ने लाखों रुपये की आय अर्जित की और उन्हें काफी अच्छा मुनाफा हुआ। उन्होंने बताया कि इसमें 296 रुपये प्रति किलो बकरी व 115 रुपये प्रतिकिलो मुर्गी की खरीद की गई है। उन्होंने युवाओं से आग्रह किया है कि वे अन्यत्र न जाकर यहीं पर बकरी व मुर्गी का पालन कर स्वरोजगार अपनाए। जिसके लिए विभाग पूरी सहायता करेगा ।




