उत्तर प्रदेश

‘सेवा पर्व’ के अवसर पर ‘खादी महोत्सव कार्यक्रम’ के अंतर्गत पिलखुवा, हापुड़ में केवीआईसी द्वारा ‘आत्मनिर्भर नवभारत यात्रा’ निकाली गई

लखनऊ : अध्यक्ष केवीआईसी ने कहा कि प्रधानमंत्री के नेतृत्व में किया गया जीएसटी सुधार खादी जगत के लिए ऐतिहासिक कदम है। खादी उत्पादों पर जीएसटी शून्य होने से कारीगरों को लाभ होगा। प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी के दृष्टिकोण के अनुरूप खादी एवं स्वदेशी उत्पादों के प्रति जागरूकता फैलाने के उद्देश्य से खादी और ग्रामोद्योग आयोग (केवीआईसी), सूक्ष्म, लघु एवं मध्यम उद्यम मंत्रालय, भारत सरकार ने ‘सेवा पर्व’ के अंतर्गत ‘खादी महोत्सव-2025’ के तहत ‘आत्मनिर्भर नवभारत यात्रा’ का आयोजन किया। यह यात्रा हापुड़ स्थित सर्वोदय इंटर कॉलेज, पिलखुवा से प्रारंभ हुई। इस यात्रा का नेतृत्व मुख्य अतिथि एवं केवीआईसी के अध्यक्ष श्री मनोज कुमार ने किया। कार्यक्रम में विद्यालय के विद्यार्थियों के साथ-साथ केवीआईसी के मंडलीय कार्यालय मेरठ के अंतर्गत आने वाली खादी संस्थाओं के प्रतिनिधि, कारीगर एवं स्थानीय नागरिकों ने उत्साहपूर्वक भाग लिया। यात्रा के समापन पर बड़ी संख्या में छात्र-छात्राओं, खादी संस्थाओं के प्रतिनिधियों, कारीगरों और स्थानीय लोगों ने ‘स्वदेशी प्रतिज्ञा’ ली।

‘आत्मनिर्भर नवभारत यात्रा’ का उद्देश्य स्वदेशी उत्पादों के उपयोग को बढ़ावा देना और देश में आत्मनिर्भरता की भावना को सशक्त करना था। इस दौरान ‘स्वच्छ भारत अभियान’ के अंतर्गत साफ-सफाई भी की गई। कार्यक्रम में निबंध एवं पेंटिंग प्रतियोगिता के विजेताओं को अध्यक्ष, केवीआईसी ने पुरस्कार और प्रमाण पत्र प्रदान कर सम्मानित किया। इस अवसर पर अध्यक्ष, केवीआईसी ने छात्रों से कहा कि प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी के स्वदेशी मंत्र से प्रेरित होकर केवीआईसी ने ‘खादी महोत्सव-2025’ के अंतर्गत ‘हर घर स्वदेशी, घर-घर स्वदेशी’ अभियान की शुरुआत की है। इसे जन-जन तक पहुंचाना हम सभी का कर्तव्य है।

इस अवसर पर अध्यक्ष, केवीआईसी श्री मनोज कुमार ने कहा कि प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी ने बार-बार स्वदेशी को आत्मनिर्भर भारत का आधार बताया है। स्वदेशी केवल एक उत्पाद नहीं, बल्कि आत्मनिर्भर भारत की पहचान है। अपने गांव, अपने कारीगर और अपने उद्योग को प्राथमिकता देना हम सबका कर्तव्य है। इसी भावना से ‘हर घर स्वदेशी, घर-घर स्वदेशी’ अभियान चलाया जा रहा है, जिससे स्थानीय कारीगरों का सम्मान और उनका आर्थिक सशक्तिकरण संभव हो सके।

अध्यक्ष, केवीआईसी ने आगे कहा कि प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में किया गया जीएसटी सुधार खादी जगत के लिए एक ऐतिहासिक कदम है। अब खादी उत्पादों पर जीएसटी शून्य कर दिया गया है, जिससे खादी कारीगरों और उद्योगों को प्रत्यक्ष लाभ मिलेगा। इस निर्णय से खादी के उत्पादन, बिक्री और लोकप्रियता में उल्लेखनीय वृद्धि होगी तथा देशभर में खादी के प्रति लोगों की रुचि और जागरूकता बढ़ेगी।

उन्होंने कहा, “प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी की प्रेरणा से खादी और ग्रामोद्योग ने गांव-गांव तक ‘कारीगर क्रांति’ की एक नई अलख जगाई है। वित्त वर्ष 2024-25 में खादी और ग्रामोद्योग का कुल उत्पादन 1,16,599 करोड़ रुपये तथा बिक्री 1,70,551 करोड़ रुपये रही है, जिससे लगभग 2 करोड़ लोगों को रोजगार प्राप्त हुआ।” उन्होंने आगे बताया, “पिछले 11 वर्षों में खादी और ग्रामोद्योग क्षेत्र में उत्पादन 4 गुना, बिक्री 5 गुना और रोजगार 49 प्रतिशत तक बढ़ा है। यह अभूतपूर्व प्रगति प्रधानमंत्री के नेतृत्व में हुए आर्थिक और सामाजिक बदलाव की मिसाल है।”

उत्तर प्रदेश में खादी और ग्रामोद्योग की उपलब्धियों का उल्लेख करते हुए अध्यक्ष, केवीआईसी ने कहा कि राज्य में आयोग द्वारा 500 से अधिक खादी संस्थाओं के माध्यम से 1.70 लाख से अधिक कारीगरों को स्वरोजगार से जोड़ा गया है। ग्रामोद्योग विकास योजना और स्फूर्ति योजना के अंतर्गत कारीगरों को प्रशिक्षण, कार्यशील पूंजी, विपणन सहायता और आधुनिक उपकरण उपलब्ध कराए जा रहे हैं।

इस अवसर पर विद्यालय के छात्र-छात्राओं ने सांस्कृतिक कार्यक्रम प्रस्तुत किए तथा निबंध और पेंटिंग प्रतियोगिता में उत्साहपूर्वक भाग लिया। कार्यक्रम में बड़ी संख्या में विद्यार्थी, कारीगर, खादी संस्थाओं के प्रतिनिधि, विभिन्न उद्यमी तथा उत्तर प्रदेश सरकार एवं केवीआईसी के अधिकारी-कर्मचारी उपस्थित रहे।

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